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डॉ. गुलाम मुर्त्तज़ा शरीफ़

नागपुर के सुप्रसिद्ध स्वतन्त्रता सेनानी और मौलाना अब्दुल क़लाम आज़ाद के सहयोगी बैरिस्टर यूसुफ़ शरीफ़ के भतीजे डॉ. ग़ुलाम मुर्त्तज़ा शरीफ़ का जन्म 8जनवरी, 1948 को रायपुर (छत्तीसगढ़), भारत में हुआ। रविशंकर विश्वविद्यालय, रायपुर से इंटर करने के पश्चात स्नातक की उपाधि पाकिस्तान में प्राप्त की और होम्योपैथिक की शिक्षा ग्रहण करने के पश्चात डाक्टर बने। इस समय पाकिस्तान की एक प्रतिष्ठित कम्पनी में कराची के डिप्टी मैनेजर हैं।

डॉ. ग़ुलाम मुर्त्तज़ा शरीफ़ 1974 में " हिन्दी वर्ल्ड रेडियो सर्विस", कराची (पाकिस्तान) में अनुवादक रहे। इन्होंने कई पुस्तकों का उर्दू से हिन्दी में अनुवाद किया है। रूहानी बुज़ुर्ग ख़्‍वाजा शम्सुद्दीन अज़ीमी साहब की प्रसिद्ध पुस्तक "रूहानी इलाज", प्रोफेसर बज़्‍मी अंसारी की शायरी की पुस्तक "आब-ए-जू" का उर्दू से हिन्दी में अनुवाद किया। आजकल "क़ुर्रान शरीफ़" के हिन्दी अनुवाद का उत्तरदायित्व निभा रहे हैं और उर्दू नातिया शायरी के सुप्रसिद्ध शायर जनाब अदीब रायपुरी साहब की नातिया शायरी का उर्दू से हिन्दी में अनुवाद कर रहे हैं।

उर्दू साहित्य के स्तंभ स्वर्गीय रईस अमरोहवी साहब के सहयोग से हिन्दी की सेवा करते रहने वाले डॉ. ग़ुलाम मुर्त्तज़ा शरीफ़ का शिक्षा का माध्यम हिन्दी और संस्कृत रहा है।

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