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माँ सरस्वती 

वीणावादिनी माँ सरस्वती, हमको ऐसा वर दो 
काम हमारा सुफल हो जाए, हमको ऐसा वर दो। 

 

माँ हम सब बालक हैं तेरे दूजा नहीं सहारा 
हम सब दीन दुःखियों का बस तू ही एक सहारा।

 

ऐसा वर दे माँ सारस्वती, विद्या बुद्धि निपुण हों, 
भर जाये सब सद्गुण मुझमें, दूर सब दुर्गुण हों।

 

जिस कारज के लिए हे माता हमने जनम लिया है,
उसको पूरा करने को अब हमने ठान लिया है।

 

कर दो मार्ग प्रशस्त हमारा, सब उजियारा भर दो,
मार्ग में आती बाधाओं को, माँ तुम दूर कर दो।

 

दृढ़ता सहस और वीरता माता मुझ में भर जाए 
हो चाहे विपरीत परिस्थिति, हम उससे न घबराएँ।

 

चलना है इस मार्ग अकेले, माता साथ तुम दे देना,
यश और सिद्धि मिले माँ मुझको, ऐसा वर तुम दे देना।

 

न हो कोइ अपराध माँ मुझसे जन सेवा करता जाऊँ,
मानव मात्र की सेवा करके जीवन सफल बना जाऊँ।

 

विनती सुन लो माँ सरस्वती, दया कृपा बना देना,
'हरिओम' जैसे मूरख को तुम अपना शिष्य बना लेना। 

 

वीणावादिनी माँ सरस्वती, हमको ऐसा वर दो 
काम हमारा सुफल हो जाए, हमको ऐसा वर दो। 

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