अन्तरजाल पर
साहित्य-प्रेमियों की विश्राम-स्थली

काव्य साहित्य

कविता गीत-नवगीत गीतिका दोहे कविता - मुक्तक कविता - क्षणिका कवित-माहिया लोक गीत कविता - हाइकु कविता-तांका कविता-चोका कविता-सेदोका महाकाव्य चम्पू-काव्य खण्डकाव्य

शायरी

ग़ज़ल नज़्म रुबाई क़ता सजल

कथा-साहित्य

कहानी लघुकथा सांस्कृतिक कथा लोक कथा उपन्यास

हास्य/व्यंग्य

हास्य व्यंग्य आलेख-कहानी हास्य व्यंग्य कविता

अनूदित साहित्य

अनूदित कविता अनूदित कहानी अनूदित लघुकथा अनूदित लोक कथा अनूदित आलेख

आलेख

साहित्यिक सांस्कृतिक आलेख सामाजिक चिन्तन शोध निबन्ध ललित निबन्ध हाइबुन काम की बात ऐतिहासिक सिनेमा और साहित्य सिनेमा चर्चा ललित कला स्वास्थ्य

सम्पादकीय

सम्पादकीय सूची

संस्मरण

आप-बीती स्मृति लेख व्यक्ति चित्र आत्मकथा यात्रा वृत्तांत डायरी रेखाचित्र बच्चों के मुख से बड़ों के मुख से यात्रा संस्मरण रिपोर्ताज

बाल साहित्य

बाल साहित्य कविता बाल साहित्य कहानी बाल साहित्य लघुकथा बाल साहित्य नाटक बाल साहित्य आलेख किशोर साहित्य कविता किशोर साहित्य कहानी किशोर साहित्य लघुकथा किशोर हास्य व्यंग्य आलेख-कहानी किशोर हास्य व्यंग्य कविता किशोर साहित्य नाटक किशोर साहित्य आलेख

नाट्य-साहित्य

नाटक एकांकी काव्य नाटक प्रहसन

अन्य

पत्र कार्यक्रम रिपोर्ट सम्पादकीय प्रतिक्रिया पर्यटन

साक्षात्कार

बात-चीत

समीक्षा

पुस्तक समीक्षा पुस्तक चर्चा रचना समीक्षा
कॉपीराइट © साहित्य कुंज. सर्वाधिकार सुरक्षित

हिंद का परचम लहराओ

 

उठो हिंद के नवजवानो, 
ख़ुद की ताक़त अब पहचानो। 
अपने देश का मान बढ़ाओ, 
हिंद का परचम लहराओ॥
 
अपनी शक्ति को तुम जानो, 
समय की क़ीमत पहचानो। 
आलस को तो बिलकुल त्यागो, 
दूर परिश्रम से न भागो॥
 
सच्ची लगन से आगे बढ़ जाओ। 
जग में हिंद का परचम लहराओ॥
 
तुममें है सारी शक्ति समाई, 
तुमसे है वतन ने आस लगाई। 
सफलता का अब वरण है करना, 
श्रम से है फिर क्यों अब डरना॥
  
मेहनत से हर मुश्किल सुलझाओ। 
जग में हिंद का परचम लहराओ॥
 
ख़ुद का जीवन श्रेष्ठ बनाओ, 
व्यर्थ में ना समय गवाँओ। 
अपनी कठिन साधना से तुम, 
राष्ट्र को अनमोल बनाओ॥
 
माँ भारती का सम्मान बढ़ाओ, 
जग में हिंद का परचम लहराओ॥
 
सही वक़्त है सही है मौक़ा, 
फँसी हुई पतवार में नौका। 
भुजबल का तुम ज़ोर दिखाओ, 
फँसी नौकाओं को अब पार लगाओ॥
 
भारत माता का मान बढ़ाओ। 
जग में हिंद का परचम लहराओ॥

अन्य संबंधित लेख/रचनाएं

टिप्पणियाँ

कृपया टिप्पणी दें

लेखक की अन्य कृतियाँ

किशोर साहित्य कविता

कविता

विडियो

उपलब्ध नहीं

ऑडियो

उपलब्ध नहीं