परीक्षा कोई भूत नहीं है
बाल साहित्य | बाल साहित्य कविता नरेंद्र श्रीवास्तव15 Apr 2019
मार्च माह का आने वाला
क़रीब परीक्षा आई।
बंद करो अब मस्ती सारी
डटकर करो पढ़ाई॥
सुविधा से सारे विषयों की
समय-सारणी बनाओ।
पढ़ो उसी के अनुसार फिर
बिन घबराये, ध्यान लगाओ॥
इधर-उधर की बातों में आ
मन को ना उलझाना।
मन में जो भी संशय आये
मिल गुरुजी से सुलझाना॥
ध्यान लगाकर पढ़ोगे तो
पाठ दिमाग़ में छाये।
उत्तर सूझे सरलता से
प्रश्न कोई पूछा जाये॥
परीक्षा कोई भूत नहीं है
ना ही हौव्वा मानो।
अगली कक्षा में जाने की
यह सीढ़ी है जानो॥
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